शिक्षक सम्मान समारोह में छात्रों-शिक्षकों का ऐतिहासिक समागम!
शिक्षक दिवस के मौके पर ऋषिकेश के भरत मंदिर इंटर कॉलेज के खचाखच भरे परशुराम सभागार में शिक्षक सम्मान समारोह ने गढ़वाल के इस प्रवेश द्वार गंगा नदी के आंगन में बसे इस शहर के इतिहास में नई इबारत लिख दी।
1970 से 1980 के दशक में पढ़कर निकले छात्रों और शिक्षकों के मिलन समारोह में करीब चार दशक से बिछड़े छा़त्र एक दूसरे से गले मिले और भावुक पलों के बीच भूली बिसरी यादों को ताज़ा किया। समारोह के संयोजक डॉ. मनोरंजन देबरानी ने बताया कि शिक्षक दिवस पर अपने पुराने गुरुजनों को सम्मानित करने का अनूठा विचार अनायास ही आया। इसे क्रियान्वित करने के लिए कई अनौचारिक बैठकें हुईं। ऋषिकेश में सभी अवकाश प्राप्त शिक्षकों के घरों पर जाकर उन्हें कार्यक्रम में आने के लिए सम्मानपूर्वक आमंत्रित किया गया। ऐसे शिक्षक जो अस्वस्थता या अन्य आकस्मिक कारणवश समारोह में शिरकत नहीं कर सके, उन्हें उनके घरों पर जाकर सम्मानित किया। संयोगवश मनोरंजन देबरानी के पिता स्व हरिदत्त देबरानी भी भरत मंदिर इंटर कॉलेज में ही सत्तर के दशक में प्रधानाचार्य थे।
विगत पांच दशकों में ऋषिकेश से होकर बहने वाली गंगा में काफी पानी बह चुका है लेकिन यहां की आबोहवा में प्रेम, आदर, बंधुत्व और अपनत्व का जो मिश्रण दशकों से घुला मिला है, उसकी अनुभूति यहां उन सभी को हुई जो पूर्व छात्र दूर दूर से समय निकालकर ऐतिहासिक पलों का गवाह बनने इस समारोह का हिस्सा बनने पहुंचे थे।
शिक्षाविद एवं पूर्व प्रवक्ता प्रो. सुवीर अग्निहोत्री ने अपने भावपूर्ण संबोधन में कहा कि कार्यक्रम की मेज़बानी जिस गरिमापूर्ण ढंग से हुई, इसे छात्रों व शिक्षकों का बेमिसाल मिलन उत्सव कहा जा सकता है, जहां उन्हें अपने कई पूर्व प्रिय छात्रों से अरसे बाद भेंट का सौभाग्य मिला। प्रो. सविता मोहन ने कहा कि एक शिक्षक के तौर पर इस बात का गर्व है कि उनके पढ़ाए छात्रों ने जीवन के विभिन्न क्षेत्रों में सफलता प्राप्त की और वे उंचाईयों को छू रहे हैं।
भरत मंदिर इंटर कॉलेज, पंजाब सिंध क्षेत्र कॉलेज और पंडित ललित मोहन शर्मा पोस्ट ग्रेजुएट कॉलेज के छात्रों और शिक्षकों के इस समागम को रंगारंग बनाने में डीएसबी की स्कूली छात्राओं के मनमोहक सांस्कृतिक कार्यक्रम ने चार चांद लगाए। भरत मंदिर इंटर कॉलेज के एनसीसी केडेट्स ने भी गरिमापूर्ण भागीदारी की।
विशिष्ट जनों की मौजूदगी ने कार्यक्रम की भरपूर रौनक बढ़ाई। जय राम आश्रम व डीएसबी स्कूल के चेयरमैन बलबीर शर्मा उर्फ ब्रह्मस्वरूप ब्रह्मचारी, स्वामी राम हिमालयन मेडिकल कॉलेज के चेयरमैन डॉक्टर विजय धस्माना, हर्षवर्धन शर्मा संचालक भरत मंदिर इंटर कॉलेज व भरत मंदिर के युवा महंत वत्सल प्रपन्न शर्मा ने अपनी विशेष मौजूदगी से समारोह की शोभा बढ़ाई।
ऋषिकेश के जिन पूर्व प्राध्यापकों को सम्मानित किया गया उनमें पी जी कॉलेज के प्रो. सविता मोहन, प्रो. हर्षवंती बिष्ट (पर्वतारोही-अजुर्न पुरस्कार विजेता), प्रो. मुकुलचंद्र त्रिवेदी, प्रो. सच्चिदानंद भट्ट, प्रो. गोविंदचंद्र रजवार, प्रो. नारायणप्रकाश माहेश्वरी, भरत मंदिर इंटर कॉलेज के शिक्षक मुरलीधर ग्वाड़ी, भिलेश्वरानंद कुकरेती, शंभूप्रसाद जुगरान, सतीशचंद्र अग्रवाल, ईश्वरीदत्त जोशी, रामप्रकाश जोशी, नरेंद्रकुमार दीक्षित, वेदप्रकाश शर्मा, विष्णुदत्त शर्मा, बंशीधर पोखरियाल, पंजाब सिंध क्षेत्र इंटर कॉलेज की शिक्षिका सुधा गुप्ता व प्रमोद अरोड़ा, समेत कई और शिक्षकों को मंच पर शाल और प्रशस्ति पत्र देकर सम्मानित किया गया।
समारोह आयोजन समिति के संयोजक थे पूर्व छात्र मनोरंजन डेबरानी और उनके साथ चंद्रशेखर शर्मा, अशोक रस्तोगी, पूर्व नगर पालिका अध्यक्ष दीप शर्मा, विनोद अग्रवाल (वीन भाई) व महेंद्रपाल खन्ना की टीम ने कार्यक्रम का सफलतापूर्वक समन्वय किया। आयोजन समिति ने सभी पूर्व छात्रों व नगर के प्रबुद्ध लोगों का उनके सहयोग के लिए आभार व अभिनंदन व्यक्त किया।
ज्ञात रहे कि सत्तर से अस्सी के दशक के जाने माने छात्र रहे अतुल शर्मा, वचन पोखरियाल, अनिल शर्मा, जगमोहन सकलानी, दिनेश रतूड़ी, शीला रतूड़ी व देवेश्वर दत्त रतूड़ी व विनय कुमार मनमीत, बृजेश शर्मा, आनंद बडोनी अनिल द्विवेदी, राकेश बड़थ्वाल, हेम पांडे, नंद किशोर अग्रवाल, सुशील सकलानी, विनोद कोठारी, आशीष पांडे, अशोक पांडे, ऋति रंजन डेबरानी, अशोक अग्रवाल (गुड्डू), अरविंद जैन, बोधराज गुल्यानी, संजय शास्त्री, मधुकर शर्मा, हरजीत सिंह, गीता शर्मा, महेंद्र खन्ना, अनिल बडोला, चंद्रमोहन नारंग, जितेंद्र अरोड़ा, राजीव आनंद, ओम प्रकाश एवं अशोककुमार पंत, राजकुमार मारवाह, गोपाल कालरा, नवीन मैंदोला, भगवती जोशी, अनिल सरीन, गोपाल कालरा, ओमप्रकाश शर्मा, सतीश डांग, अशोक थापा, वीरेंद्र नौटियाल, मनमोहन सूदन, सुरेश पंत, दुर्गा सिंह रावत, सुनील प्रभाकर, प्रमोद चौधरी, दिनेश बहुगुणा, असीम जोशी, राजीव तिवारी, राजेंद्र गौतम, दीपक बंसल, रजनीश सेठी, नागेंद्र मिश्रा, मनोज लाल श्रीवास्तव, सुनील एवं विजय गुलाटी, उमेश मिश्रा, ज्योति कुमार शर्मा, विजय बिष्ट, विनय उनियाल समेत दर्जनों पूर्व छात्र उपस्थित थे।
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लेखक पंजाब सिंध क्षेत्र इंटर कॉलेज व पीजी कॉलेज ऋषिकेश के छात्र रहे हैं। दैनिक हिंदुस्तान के राष्ट्रीय ब्यूरो प्रमुख व प्रेस क्लब ऑफ़ इंडिया के अध्य़क्ष रहे हैं।